Mahakumbh 2025: आस्था का अमर अध्याय बना महाकुंभ, रहेगा हमेशा याद
प्रयागराज की पुण्य भूमि पर 144 वर्ष बाद हुए महाकुंभ के सफल आयोजन ने एक सामर्थ्यवान राष्ट्र के रूप में भारत की प्रतिष्ठा को वैश्विक पटल पर कई गुना अधिक समृद्ध किया है. महाकुंभ के प्रति भारत के गांव-गांव में और समाज के हर वर्गों में जबरदस्त उत्साह दिखा, वो चाहे महिलाएं हों या बुजुर्ग, दिव्यांग हों अथवा बच्चे. इस महाकुंभ के दौरान आस्था के अमृत जल धारा में डुबकी लगाने को लेकरजो उत्साह और उमंग देखा गया उसकी दूसरी कोई मिसाल मिलना दुर्लभ है.
महाकुंभ में भाग लेने वालों का उनके गांवों से सत्कार और स्वागत के दृश्य न केवल भाव विभोर कर देने वाले थे, बल्कि किसी कारणवश महाकुंभ से प्रत्यक्ष रूप से नहीं जुड़ सकने वाले लोगों ने भी इस आयोजन से अपना मानसिक जुड़ाव खुलकर प्रदर्शित किया. यह इस भव्य आयोजन की सबसे खास उपलब्धियों में से एक है.